श्री हरिदेव जोशी जिला अस्पताल में डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको की मिलीभगत का खेल
डूंगरपुर।। जिले में मेडिकल कॉलेज से जुड़े श्री हरिदेव जोशी जिला अस्पताल में डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको की मिलीभगत का खेल चल रहा है | इस खेल से जिला अस्पताल के डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको की जेब तो भर रही है लेकिन अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीज के लिए निशुल्क जांच योजना होते हुए भी इस खेल के चलते जेब ढीली हो रही है | ओर भर्ती होने वाले मरीजो को सरकार की निशुल्क योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है |
श्री हरिदेव जोशी जिला अस्पताल जो की डूंगरपुर मेडिकल कॉलेज के अधिन आता है | बदलते मौसम के चलते अस्पताल में दिखाने आने वाले ओर भर्ती होने वाले मरीजो की भीड़ लगी रहती है | राज्य सरकार ने सरकारी अस्पतालों में निशुल्क जांच व दवा योजना की व्यवस्था कर रखी है | लेकिन डूंगरपुर जिला अस्पताल के डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको की मिलीभगत से इन योजनाओ को पलीता लग रहा है | जिला अस्पताल में कार्यरत डॉक्टर्स की अलग-अलग निजी पैथोलोजी लेब संचालको से सेटिंग है ओर जिस भी डॉक्टर का मरीज वार्ड में भर्ती होता है तो उस मरीज की निशुल्क जांच नहीं होती बल्कि उस डॉक्टर का चहेता पैथोलोजी लेब संचालक का प्रतिनिधि अस्पताल के वार्ड में आता है ओर जांच के सेम्पल लेकर चला जाता है ओर उस एवज में मरीज व उनके परिजनों को जेब ढीली करनी पड़ती है | बड़ी से लेकर छोटी छोटी जांच तक डॉक्टर्स बाहर से करवा रहे है |
डूंगरपुर जिला अस्पताल में डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको के बीच का ये खेल कोई नया नहीं है पहले भी इस तरीके के खेल सामने आ चुके है | डूंगरपुर विधायक गणेश घोघरा के निरीक्षण में भी विधायक घोघरा ने इस कारगुजारी को पकड़ा था और उस समय विधायक ने डॉक्टर्स को चेतावनी दी थी | लेकिन विधायक की चेतावनी का भी डॉक्टर्स पर कोई असर नहीं हुआ और आज भी ये खेल बदस्तूर जारी है |
इधर इस मामले में जब डूंगरपुर जिला कलेक्टर सुरेश कुमार ओला से बात की गई तो उन्होंने मामले की गंभीर मामला ओर जांच करवाते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की बात कही | वही अब वार्डो में सीसीटीवी केमरे भी लगाने की बात कही |
बहराल डूंगरपुर कलेक्टर सुरेश कुमार मामले की जांच करवाते हुए कार्रवाई की बात जरुर कर रहे है | लेकिन डूंगरपुर जिला अस्पताल में डॉक्टर्स व निजी पैथोलोजी लेब संचालको के बीच चल रहा खेल प्रदेश के संवेदनशील मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के मंशा पर पलीता लगा रहा है | खेर अब देखने वाली बात होगी की कलेक्टर साहब की जांच कब तक पूरी होती है ओर दोषियों के खिलाफ क्या कार्रवाई अमल में लाने के साथ ये खेल कब तक बंद होता है |