ओबरी। गौ पर्यावरण एवं आध्यात्मिक चेतना पदयात्रा रथ का रविवार शाम को वरदा में भव्य स्वागत हुआ। रात्रि विश्राम के बाद सोमवार को राष्ट्रीय गौ संत जगदीश गोपाल महाराज के सानिध्य में ग्रामीणों द्वारा कलश यात्रा व शोभायात्रा वरदा के रा उ मा विद्यालय से होते हुए मुख्य बाजार के साथ पूरे गांव में गाजे बाजे के साथ निकली गई। इसके बाद स्थानीय स्कूल प्रांगण में गौ संत जगदीश गोपाल महाराज द्वारा धर्म सभा का आयोजन किया गया। जिसमें गौ महाराज ने बताया कि यह पद यात्रा हल्दी घाटी से 4 सितंबर 2012 को शुरू की गई। 9 वर्ष 6 माह के बाद अभी तक 7800 किलोमीटर व 1800 गांवो की पद यात्रा हो चुकी है एवं यह पद यात्रा 21 वर्ष 6 माह की पूरे भारत वर्ष में करनी बाकी है और उन्होंने बताया प्रतिदिन पहले रोटी गाय को जिमाए उसके बाद भोजन ग्रहण करे, गोमाता के दूध, दही, छाछ व घी का प्रयोग करे। अपने घर, फ ार्म हाउस या खेत में गोमाता रखे, गोवंश रक्षार्थ राष्ट्रव्यापी जन आंदोलन को बनाने में तन मन धन से सहयोग देवे। गौमूत्र अर्क सर्वोत्तम स्वास्थवर्धक टॉनिक है। गौमूत्र अर्क तथा पंचगव्य से निर्मित औषधियों व पदार्थों का उपयोग कर स्वास्थ्य लाभ उठाएं। घायल बीमार असहाय गोवंश की सेवा ह्रदय से करे एवं गौमाता एक जीता जागता मंदिर है जिसमे समस्त देव विधमान रहते हैं अत: पूरे मनोबल के साथ गोसेवा करे। धर्मसभा के बाद सामुहिक आरती हुई एवं आयोजन में समाज सेवी तेजसिंह, लावण्य सिंह, गजेंद्र भोई, बलवीर सिंह, प्रशांत शर्मा, भगवान प्रजापत, मदनसिंह, दिनेश भोई, सुभाष कलाल, नरेश प्रजापत, महेश पंचाल, भंवर सिंह, नरेंद्र सिंह, विनोद कलाल का सहयोग रहा